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24 घँटे में पुलिस ने तहकीकात पूर्ण कर आरोपी बेटे को हिरासत में लिया..आज होगा कोर्ट में पेश
क्राइम रिपोर्टर।
गोंदिया। बीते 6-7 जून के तड़के शहर के चंद्रशेखर वार्ड, श्रीनगर क्षेत्र में हुई संध्या कोरे (48वर्ष) की निर्मम हत्या में उसके बेटे करण महेंद्र कोरे (24वर्ष) को पुलिस ने गिरफ्तार किया है। पुलिस जांच के दौरान शक की सुई मृतक के बेटे पर टिकी रही। पुलिस पूछताछ में उसने अपना अपराध कबूल किया।
आज 8 जून को उपविभागीय पुलिस अधिकारी सुनील ताजने ने प्रेस को बताया कि मृतक संध्या कोरे आमगांव रोड पर खालसा ढाबे में कैशियर का काम करती थी। मृतक का बेटा करण महेंद्र कोरे (24 वर्ष) ये नागपुर में एमआर शीप का कार्य करता था, परंतु 6 माह से माँ और बेटा चंद्रशेखर वार्ड, श्रीनगर में किराए के मकान में रह रहे थे। मृतक के पति की मौत 20 साल पहले बीमारी के चलते हुई।
उन्होंने बताया, आरोपी करण कोरे की माँ मृतक संध्या कोरे काले जादू, गुप्तधन खोजने पर विश्वास करती थी। इसमें वो जमा रुपया अंधविश्वास में खर्च कर रही थी। आरोपी को अपनी माँ के चरित्र पर भी शक था। इसी बात को लेकर उनमें विवाद होता रहता था।
घटना वाले दिन जब मृतक और उसका बेटा घर मे थे। उसी रात उसने दिल में खुन्नस रखकर रात 3 से 4 के बीच घर में रखी सब्जी काटने की धारदार पावसी उठाकर माँ का गला रेता तथा गुस्से में क्रोधित होकर उसके मुंह और शरीर पर वार कर उसकी निर्मम हत्या कर दी।
इस वारदात के दौरान पुलिस को सूचना मिलने पर मृतक की लाश किचन में लहूलुहान पाई गई जबकि आरोपी युवक सोफे में गंभीर अवस्था में बैठा पाया गया। उसके हाथ में घाव था।
मृतक के पोस्टमार्टम, अंतिम संस्कार के बाद जब आरोपी से पूछताछ की गई तो उसने संध्या कोरे की हत्या करने का जुर्म कबूल किया।
इस मामले पर फिर्यादि प्रकाश कवडू जी पाथोड़े 43 वर्ष की शिकायत पर शहर थाना पुलिस ने आरोपी के खिलाफ भादवि की धारा 302 के तहत मामला दर्ज कर आरोपी को हिरासत में लिया तथा आगे की जांच पड़ताल हेतु पुलिस उसे आज कोर्ट में पेश करेंगी।
मर्डर की इस गुत्थी को 24 घँटे के भीतर शहर थाना पुलिस, डीबी स्कॉड द्वारा सुलझाने पर पुलिस अधीक्षक निखिल पिंगळे, अपर पुलिस अधीक्षक अशोक बनकर व एसडीपीओ सुनील ताजने ने पुलिस कर्मियों की सरहाना की।
इस जांच की सफलता हेतु शहर थाना पीआई चंद्रकांत सूर्यवंशी, एपीआई सागर पाटील, जांच अधिकारी पीएसआई शरद सैदाने, पु. हवलदार भाटिया, बैस, उईके, टेंभरे, मेश्राम, चौहान, शेंडे, रहांगडाले, भगत, पीसी बिसेन, रावते, बारेवार, सोनवाने, देशमुख आदी ने प्रयास किया।